कमल शर्मा
भाजपा के इस आंतरिक घटनाक्रम ने हरिद्वार की राजनीति में हलचल मचा दी है। सुनील प्रजापति पूर्व में भी अपनी मजबूत राजनीतिक पकड़ और सक्रियता के लिए जाने जाते रहे हैं। पार्टी के भीतर उनकी गहरी पकड़ के चलते कार्यकर्ताओं के बीच उनकी दावेदारी पर चर्चा जोर पकड़ रही है। कार्यकर्ताओं ने उनके समर्थन में नगर विधायक मदन कौशिक के समक्ष जोरदार जिंदावाद के नारे भी लगाए।
इससे पहले, सुनील प्रजापति ने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट और जिलाध्यक्ष संदीप गोयल को भी अपनी दावेदारी का आवेदन पत्र सौंप दिया था। यह घटनाक्रम अब भाजपा के राजनीतिक गलियारों में चर्चा का विषय बन गया है। माना जा रहा है कि सुनील प्रजापति की दावेदारी से भाजपा के भीतर मेयर पद की उम्मीदवारी को लेकर रोचक मुकाबला देखने को मिल सकता है।
हरिद्वार के मौजूदा मेयर पद के लिए कई नेता अपनी दावेदारी पेश कर रहे हैं, लेकिन प्रजापति की सक्रियता और उनकी लोकप्रियता ने इस चुनावी दौड़ में एक नया मोड़ ला दिया है। प्रजापति ने अपने आवेदन में नगर निगम के विकास और जनहित के मुद्दों को प्राथमिकता देने का आश्वासन दिया है, जो उन्हें अन्य दावेदारों से अलग बना सकता है।
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि मेयर पद के लिए भाजपा के भीतर यह आंतरिक संघर्ष पार्टी को नए रास्ते पर ले जा सकता है, जहां सुनील प्रजापति जैसे युवा और ऊर्जावान नेताओं को मौका दिया जा सकता है। हालांकि, अंतिम फैसला पार्टी नेतृत्व पर निर्भर करेगा, लेकिन इस दावेदारी ने हरिद्वार की स्थानीय राजनीति में उत्साह भर दिया है।
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा नेतृत्व इस मामले में क्या रुख अपनाता है और किसे अंतिम उम्मीदवार के रूप में मैदान में उतारा जाता है।
बृजमोहन शर्मा, विनोद मिश्रा, डॉक्टर विनोद कुमार, कुलदीप शर्मा, मनोज मेहता, अंजू श्रीमती सर्वेश देवी, सनी शर्मा,मनोज ठाकुर, आदित्य प्रजापति, रामपाल प्रजापति, अनुज प्रजापति ,हर्षित पांडे आदि मौजूद रहे।