हरिद्वार ,हनुमान कुटी भूपतवाला में भक्तजनों के बीच अपने श्री मुख से उद्गार व्यक्त करते हुए वरिष्ठ कोतवाल श्री कालीचरण जी महाराज ने कहा भक्तों के मन की आस्था ही मनुष्य को ईश्वर से जोड़ती है अगर आपके अंदर श्रद्धा आस्था और समर्पण का भाव नहीं है तो ईश्वर को प्राप्त कर पाना संभव है क्योंकि भगवान हमेशा भक्त की भक्ति का भाव देखते हैं

अगर आपकी श्रद्धा और आस्था सच्ची है तो आपके इष्ट देव भगवान आपके दर्शन देने के लिए आपकी मनो इच्छापूर्ति हेतु दौड़े चले आते हैं अगर आवश्यकता है तो भक्ति में सच्चे भाव की ईश्वर हमेशा भक्त की आस्था और भाव देखते हैं निस्वार्थ भाव से की गई भक्ति सदैव कल्याणकारी होती है